शनिवार, 10 अक्टूबर 2020

शुद्ध ह्रदय

🦚🦚 *जय मातादी* 🦚🦚
यदि वहसि त्रिदण्डं नग्रमुंडं जटां वा
यदि वससि गुहायां पर्वताग्रे शिलायाम् ।
यदि पठसि पुराणं वेदसिध्धान्ततत्वम्
यदि ह्रदयमशुध्दं सर्वमेतन्न किज्चित् ॥

🦚🦚🦚 *जय महादेव* 🦚🦚🦚

आदमी त्रिदंड धारण करे, सर पे मुंडन करे, जटा बढाये, गुफा में रहे या पर्वत की चोटी पर, और वेद पुराण व सिद्धान्त के तत्व का अभ्यास करे, लेकिन जो ह्रदय साफ़ न हो तो ये सब बेकार है !

🦚🦚🦚🦚🦚
*पंडयाजी*
९८२४४१७०९० 
७८०२००००३३
🦚🦚🦚🦚🦚

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